विस्पंद (Beat)
जब कभी दो लगभग बराबर आवृत्ति की ध्वनि तरंग साथ-साथ उत्पन्न होती है, तो उनके अध्यारोपण से जो परिणामी ध्वनि उत्पन्न होती है, उसकी तीव्रता बारी-बारी से घटती और बढ़ती है। ध्वनि की तीव्रता के इस चढ़ाव व उतार को ‘विस्पंद’ कहते हैं। एक चढ़ाव और एक उतार को मिलाकर एक विस्पंद बनता है !
विस्पंद आवृत्ति
एक सेकण्ड में जितनी बार ध्वनि की तीव्रता में चढ़ाव या उतार होता है, उसे ‘विस्पंद आवृत्ति’ (Beat frequency) कहते हैं। विस्पंद आवृत्ति = ध्वनियों की आवृत्तियों का अन्तर = श्रोतों की आवृत्तियों का अन्तर। यदि हम बराबर आवृत्ति के दो ध्वनि श्रोतों को एक साथ बजाते हैं, तो उनसे उत्पन्न परिणामी ध्वनि की तीव्रता में हमें कोई उतार-चढ़ाव सुना नहीं देता।
विस्पंद के अनुप्रयोग
- स्वरित्र द्विभुज की आवृत्ति के निर्धारण
- वाद्यों के समस्वरण में
- रेडियो अभिग्रहण में
- खानों में विस्फोटक मीथेन गैस का पता लगाने में